चंपत हो जाना मुहावरे का अर्थ और वाक्य में प्रयोग

champat ho jana muhavare ka arth, चंपत हो जाना मुहावरे का अर्थ और वाक्य में प्रयोग

अगर आप अपने जीवन में आर्मी में भर्ति होना चाहते है तो आपको चंपत होना सिखना पड़ता है । वैसे यह एक मुहावरा है और इस लेख में आपको इस मुहावरे के बारे में सब कुछ जानने ‌‌‌को मिलने वाला है तो आइए शुरू करते है –

चंपत हो जाना मुहावरे का सही अर्थ क्या होगा

‌‌‌मुहावरा ‌‌‌हिंदी में (idiom in Hindi)मतलब‌‌‌ ‌‌‌या अर्थ (Meaning in Hindi)
चंपत हो जानाभाग जाना ।

चंपत हो जाना मुहावरे के अर्थ को समझने का प्रयास करे

वैसे चंपत के बारे में आपको नही पता है । मगर आपको बता दे की चंपत का अर्थ होता है जो कुछ भी बताए बिना भाग चुका हो उसे चंपत कहते है।  तो यह जो चंपत है वह हमे भागना के बारे में बता रहा है । और अब मुहावरो की दुनिया में बात करे तो ‌‌‌किस तरह से भागता है यह यहां पर ज्यादा महत्व नही रखता है। तो इस तरह से चंपत हो जाना मुहावरे का अर्थ भाग जाना होता है  ।

वैसे विद्वानो चंपत हो जाना एक ऐसा मुहावरा है जो की आपको बताता है की आपको इसके बारे में और जानकारी होनी चाहिए तो आइए वाक्य में प्रयोग जानते है –

चंपत हो जाना मुहावरे का अर्थ और वाक्य में प्रयोग

‌‌‌चंपत हो जाना मुहावरे का वाक्य में प्रयोग किजिए

‌‌‌1. वाक्य में प्रयोग जैसे ही राजू के हाथ में 56,000 रूपय आया तो वह रातो रात चंपत हो गया ।

2. वाक्य में प्रयोग बैंक में चोर थे और चोरी कर रहे थे मगर जैसे ही पुलिस की गाड़ी की आवाज सुनी तुरन्त चंपत हो गए और पुलिस को पता तक नही चला ।

3. वाक्य में प्रयोग आतंकवादी भारत पर हमला करने के लिए आए थे मगर सामने इंडियन आर्मी को खड़ा देख कर वही पर अपनी जान बचाते ‌‌‌हुए चंपत हो गए ।

4. वाक्य में प्रयोग इंडियन आर्मी को देख कर अच्छे अच्छे देश की सेना चंपत हो जाती है तो फिर पाकिस्तान तो है ही क्या चिज ।

5. वाक्य में प्रयोग मुन्ना भाई को मजाक बिल्कुल पंसद नही था मगर फिर भी सर्किट ने ऐसा किया और तुरन्त चंपत हो गया ।

6. वाक्य में प्रयोग गाव में शेर आ जाने के कारण से हर कोई चंपत हो गया और अपने घर में जा छीपा

‌‌‌7. वाक्य में प्रयोग पप्पू पहलवान को सामने देख कर मगोद चंपत होने की काफी कोशिश की मगर नाकाम रहा ।

8. वाक्य में प्रयोग गुन्हेगार को जैसे ही पता चला की उसे पकड़ने के लिए पुलिस आ रही है तो वे तुरन्त चंपत हो जाते है ।

हाथी (Elephant) ने समझा की चंपत होना सही नही है, एक कहानी

एक बार की बात है, जंगल (Forest) में एक बहुत बड़ा हाथी (Elephant) रहता था। वह जंगल (Forest) का शासक था और जंगल (Forest) की सभी जानवरों (Animals) को अपने वश में रखता था। लोगों को यह बड़ा हाथी (Elephant) बहुत पसंद था, लेकिन उनके मन में एक दर हमेशा बनी रहती थी कि क्या होगा अगर यह हाथी (Elephant) किसी मुसीबत में फंस जाएगा?

एक दिन, जंगल (Forest) में अचानक एक जंगली अग्नि (fire) फैल गयी। यह अग्नि (fire) बहुत तेज थी और वह जंगली जानवरों (Animals) के लिए बहुत खतरनाक थी। सभी जानवर (Animal) भागने लगे, लेकिन बड़ा हाथी (Elephant) फिर भी वहाँ खड़ा रहा। वह अपने सामने फैली अग्नि (fire) को देखता रहा और ध्यान से सोचता रहा।

बड़ा हाथी (Elephant) को अपने आप को बचाने के लिए कोई दौड़ने वाला या झंझट करने वाला विकल्प नहीं था। वह जंगल (Forest) का सबसे बड़ा और भारी जानवर (Animal) था, और उसे अपने आप को समझ में आए दंगल से बचाने का सही तरीका ढूंढना था

बड़ा हाथी (Elephant) धीरे-धीरे आगे बढ़ता रहा और फिर एक जगह पहुंचा जहाँ अग्नि (fire) का प्रभाव कम होने लगा था। उस जगह पर उसे कुछ सुरक्षित महसूस होने लगा था। बड़ा हाथी (Elephant) ने फिर अपनी बुद्धि का प्रयोग करते हुए अपने शेष जानवर (Animal) मित्रों को बुलाया और सभी ने वहाँ उस जगह पर आकर अपनी जान बचाने की कोशिश की।

बड़ी संख्या में जानवरों (Animals) ने मिलकर मेहनत करते हुए उस अग्नि (fire) को बुझाया और अपनी जान बचाने में सफल रहे। बड़ा हाथी (Elephant) ने इस सारी घटना से कुछ सीख निकाली। उसे यह जानकारी हो गई कि कोई भी मुसीबत से भागने से पहले उसे समझने की कोशिश करनी चाहिए और जब समझ आ जाए तो उसका सामना करना चाहिए।

‌‌‌मगर कहते है की बड़े से बड़ा जानवर (Animal) भी किसी न किसी तरह की मुसीबत से डरता है । दो दिन बिते थे की एक बार जंगल (Forest) में चलते समय, बड़ा हाथी (Elephant) एक गड्ढे में फंस गया था जो उसे दिखाई नहीं देता था। हाथी (Elephant) ने अपनी सारी शक्ति और साहस लगाकर उस गड्ढे से निकलने की कोशिश की, लेकिन वह नहीं निकल पा रहा था। फिर बड़ा हाथी (Elephant) डर गया और मुसीबत से ‌‌‌चंपत ‌‌‌होना चाहता था मगर यह संभव न हो सका ।

जब हाथी (Elephant) ने अपनी समस्या से निपटने के लिए अपने मित्रों की मदद मांगी, तो सभी जानवर (Animal) तुरंत उसके पास आ गए। बंदर ने अपनी लम्बी डंठल से गड्ढे के ऊपर की ओर जाकर हाथी (Elephant) को खींचा। कुछ बकरियां निकटतम शाखाओं से पेड़ों के सहारे आईं और हाथी (Elephant) को उस गड्ढे से निकालने के लिए दूसरी ओर से धक्का देने लगीं। भैंसे और गायें भी अपनी ताकत लगाकर हाथी (Elephant) को गड्ढे से निकालने में मदद कर रही थीं।

हाथी (Elephant) ने समझा की चंपत होना सही नही है, एक कहानी

सभी जानवरों (Animals) ने मिलकर मुश्किल को आसान बना दिया था। अंत में, हाथी (Elephant) सफलतापूर्वक गड्ढे से निकल गया था और उसे अपने मित्रों का उपकार याद रहेगा। उसने यह समझ लिया था कि जब उसे मुसीबत का सामना करना पड़ता है, तब उसे अपने साथियों से मदद मांगनी चाहिए और सभी उसकी मदद करेंगे।  ‌‌‌अगर हम मुसीबत से भागेगे तो ऐसा कभी नही होगा की हम बच जाएगे । ओर इस तरह से हाथी (Elephant) को यह बाते अच्छी तरह से समझ में आ गई ।

तभी हाथी (Elephant) ने अपने मित्रो से कहा की जब मैं गड़े मे था तो चपत होने की सोच रहा था मगर तुम्हारा साथ मिलने के कारण से यह अहसास हो गया है की मुसीबत से कभी चंपत होने की सोच तक नही ‌‌‌रखनी चाहिए क्योकी सहायता करने के लिए आप जैसे मित्र जो है । इतना कह कर हाथी (Elephant) उनके साथ चला गया और अपना जीवन जीने लगा ।

तो इस तरह से हाथी (Elephant) को समझ में आया की चंपत क्यो नही होना चाहिए ।

Leave a Comment