thahaka lagana muhavare ka arth, ठहाका लगाना मुहावरे का अर्थ और वाक्य में प्रयोग
वैसे यह जो मुहावरा है उसे हम प्रसिद्ध कह सकते है । क्योकी बहुत से लोगो के द्वारा आज इस मुहावरे का उपयोग किया जाता है। तो आइए जानते है की आखिर इसका अर्थ क्या होता है और वाक्य में प्रयोग किस तरह से किया जाता है
ठहाका लगाना मुहावरे का सही अर्थ क्या होगा
मुहावरा हिंदी में (idiom in Hindi) | मतलब या अर्थ (Meaning in Hindi) |
ठहाका लगाना | बहुत जोर-जोर से हंसना । |
ठहाका लगाना मुहावरे के अर्थ को समझने का प्रयास करे
वैसे ठहाका जो शब्द होता है उसे लोग अलग अलग तरह से समझा सकते है । मगर इसका मतलब एक ही होता है जो है जोर से हंसी । हां वह बात अलग है की हंसी का कारण क्या है चाहे कारण कुछ भी हो जोर से हंसी जो होती है उसे ठहाका ही कहा जाता है ।
ठहाका जो शब्द होता है वह जोर से हंसने को दर्शाता है । यानि जब कोई जोर से हंसता है तो उसे ठहाका कहा जाता है । तो इस बात से हम यह कह सकते है की ठहाका लगाना मुहावरे का अर्थ बहुत जोर जोर से हंसना होता है ।
विद्वानो आपको बता दे की इस मुहावरे के बारे में आपके लिए उपर दी गई जानकारी कम है। तो आपको ज्यादा जानकारी जाननी चाहिए तो वाक्य देखे –
ठहाका लगाना मुहावरे का वाक्य में प्रयोग किजिए
1. वाक्य में प्रयोग – महेश और उसका परिवार पूरा मोटू पतलू शौ का दिवाना था और जब शो आ जाता था तो सभी उसे देखते थे और ठहाका लगाते थे ।
2. वाक्य में प्रयोग – अध्यापक स्कूल में इस तरह से पढाने लगे की सभी बच्चे पढते भी थे और ठहाका भी लगाते थे ।
3. वाक्य में प्रयोग – स्कूल में चल रहे प्रोग्राम में राहुल ने जब की कोमेडी की सभी देख कर ठहाका लगाने लगे ।
4. वाक्य में प्रयोग – कंचन चुटकले सुनाने की दिवानी थी और जब 15 अगस्त था तो स्कुल में उसने गजब के चुटकले सुनाई जिसे सुन कर सभी लोग ठहाका लगाने लगे ।
5. वाक्य में प्रयोग – सरिता की मजेदार बातो को सुन कर हर कोई कक्षा में ठहाका लगाने लगा ।
6. वाक्य में प्रयोग – मोनिका मैंम स्कूल में सामान्य अध्ययन इस तरह से पढा रही थी की सभी बच्चे पढते हुए ठहाका लगाने लगे ।
7. वाक्य में प्रयोग – पंकज और निलम एक दूसरे से प्रेम करते थे और जब भी एक दूसरे की प्रेम भरी बाते सुनते तो ठहाका लगाने लग जाते थे ।
8. वाक्य में प्रयोग – राहुल जी के भाषणो को सुन कर पूरी जंता ठहाका लगाने लगी ।
शेर (lion) और चूहा (rat) ने ठहाका लगाया, एक कहानी
एक बार एक चूहा (rat) एक जंगल (Forest) में रहता था। वह जंगल (Forest) में राजा हुआ करता था। वह बहुत ही बुद्धिमान था और सभी जानवर (Animal) उसे अपना सहयोगी मानते थे। चूहा (rat) भले ही आकार में छोटा (Small) होगा मगर वह शेर (lion) को राजा कभी नही बनने दिया था और जंगल (Forest) में स्वयं ही सबसे ज्यादा महत्व रखने वाला था । जंगल (Forest) में ऐसा कोई नही था जो की चूहे को राजा न माने ।
एक दिन चूहा (rat) जंगल (Forest) में घूमता हुआ अचानक से वहां पर एक शेर (lion) आ जाता है ओर मगर चुहे ने उसे देखा नही था काफी समय बित जाने पर चुहे की नजर शेर (lion) पर जा गिरी । चूहा (rat) का मन शेर (lion) को देखकर डर गया , चूहा (rat) सोने लगा की अगर वह शेर (lion) को नजर आ जाएगा तो वह उसे खा जाएगा । शेर (lion) को देखने के बाद में चूहे के मन में अलग अलग तरह के प्रशन बनने लगे थे । लेकिन चूहे ने हिम्मत की और धीरे-धीरे शेर (lion) के पास गया और उससे पूछा, “आप कहाँ जा रहे हो?”
शेर (lion) ने कहा, मुझे काफी समय से भूख लगी है तो मैं शिकार की तलाश कर रहा हूं और फिर शेर (lion) ने चूहे से कहा की अगर चूहा (rat) साफ साफ कहु तो “मैं अपना खाने का शिकार करने जा रहा हूँ।”
चूहा (rat) ने कहा, यह सुन कर चुहा काफी डर गया क्योकी उसे लगा की शेर (lion) उसे ही खा जाएगा । और अपने आप को बचाने के लिए चूहे ने शेर (lion) से कहा “मैं आपका सहयोग कर सकता हूँ।”
शेर (lion) ने कहा, “तुम मेरा सहयोग कैसे कर सकते हो? तुम तो बहुत छोटे हो।” तुम तो इतने छोटे हो जो की शिकार के पैर के निचे आकर ही मर जा सकते हो । भला तुम मेरा कैसे सहायता करोगे ।
चूहे ने शेर (lion) की बात सुन कर काफी समय तक कुछ नही कहा मगर फिर उसने कहा, “मैं तुम्हारे लिए एक अच्छा शिकार ढूंढ सकता हूँ।”
शेर (lion) चूहे की बाते सुन कर ठहाका लगाने लगा और कहा, “तुम एक छोटा (Small) चूहा (rat) हो और मैं एक शेर (lion) हूँ। तुम मेरी मदद करने में सक्षम नहीं हो सकते।” तुम तो अपनी सोच के अनुसार ही मेरी मदद कर सकते हो ।
चूहा (rat) शेर (lion) की बात सुन कर नाराज हो गया मगर फिर भी उसने शेर (lion) से कहा, “आप अपने शिकार के लिए चले जाओ। मैं तुम्हें उस स्थान की ओर बताऊंगा जहां एक समूह चींटियाँ (ants) हैं। उन्हें खाकर आप बहुत मजा करोगे।”
शेर (lion) ने सोचा कि यह चूहे का प्रार्थना है और उसने चूहे की बात मान ली। चूहा (rat) ने शेर (lion) को चींटियों के स्थान की ओर बताया और शेर (lion) उस स्थान की ओर चला गया। शेर (lion) काफी समय तक रास्ते में चलता रहा मगर वह स्थान नही आया था मगर आखिर में जब शेर (lion) वहाँ पहुंचा, तो उसने देखा कि वहाँ एक बड़ी सी चींटी (ant) की गिंगी लटक रही है। शेर (lion) ने चींटी (ant) की गिंगी पर ताकतवर हमला किया और उसे खा गया। शेर (lion) ने बहुत मजा किया ।
जिसके कारण से चूहे ने अपने मन ही मन में चूहे की तारिफ की ।
जब शेर (lion) वापस आया, तो उसे उसी स्थान पर चूहा (rat) खेलता हुआ मिलता है और फिर जब चूहे ने उसे देखा तो चूहे ने कहा, “क्या तुमने चींटियों को खाया?”
शेर (lion) ठहाका लगाते हुए कहा, “हाँ, मैंने उन्हें खा लिया।”
शेर (lion) की बात सुन कर चूहा (rat) भी ठहाका लगाने लगा और कहा, “देखो, मैंने तुम्हें बताया था कि वहाँ एक समूह चींटियाँ (ants) हैं, लेकिन तुमने उन्हें नहीं खाया। बल्की चींटी (ant) की गिंगी खा ली और चूहा (rat) जोर जोर से हंसने हुए कहा की इसमें तुम्हे काफी मजा जरूर आया होगा ।
शेर (lion) यह सुन कर काफी खुश हुआ और उसने चूहे को अपना साथी बना लिया । क्योकी उसे पता था की चूहा (rat) उसके लिए जरूर कुछ मजेदार भोजन बता सकता है । तो इसत रह से फिर चूहा (rat) और शेर (lion) अपना जीवन साथ में बिताने लगे थे ।