अंत भला तो सब भला मुहावरे का अर्थ क्या होता है, और एक प्रसिद्ध भारतिय कहानी

अंत भला तो सब भला मुहावरे का अर्थ, ant bhala to sab bhala muhavare ka arth aur vakya mein prayog

वैसे जब हम इस मुहावरे को देखते है तो एक बात मन में आती है की जब अंत हो रहा है तो यह कैसे अच्छा कहा जा सकता है । क्योकी ‌‌‌विद्वानो आपको पता है की हमेशा जब किसी का अंत होता है तो यह बुरा ही होता है । मगर फिर भी इसे अच्छा कहा जा रहा है, आखिर चक्कर क्या है बबुआ । दरसल दोस्त कुछ नही यह एक मुहावरा है और इसका मतलब अलग है जो की हम जान लेगे ना यार क्यो टेंसन ले रहे हो

अंत भला तो सब भला मुहावरे का अर्थ क्या होता है

‌‌‌मुहावरा ‌‌‌हिंदी में (idiom in Hindi)मतलब‌‌‌ ‌‌‌या अर्थ (Meaning in Hindi)
अंत भला तो सब भलायदी किसी कार्य का अंत अच्छा हो तो सब कुछ अच्छा होता है

अंत भला तो सब भला मुहावरे को मसझने का प्रयास करे

आपको पता है की मानव जीवन में काफी मुसीबत होती है । और मान ले की हमारे जीवन काफी बड़ी मुसीबत हो जिसके कारण से काफी अधिक कष्टो और पीड़ा का सामना करना पड़ा । मगर काफी दुख देने के बाद में आखिकार मुसीबत का अंत हो जाता है हम इसे अच्छा कहेगे या बुरा है

‌‌‌विद्वानो हमे पता है की इसे अच्छा ही कहा जाएगा । क्योकी मुसीबत आखिरकार खत्म तो हुई , हां देर से हुई यह बात अलग है । तो इस तरह से मुसीबत का अंत हो जाता है तो सब कुछ अच्छा हो गया कहा जाता है और इसी कारण से कहा जाता है अंत भला तो सब भला ।

विद्वानो जरा नजर बनाए रखे क्योकी अभी तो वाक्य में प्रयोग और कहानी बाकी है तो आइए खुश रहते हुए इसे भी जान लेते है

अंत भला तो सब भला मुहावरे का अर्थ क्या होता है, और एक प्रसिद्ध भारतिय कहानी

अंत भला तो सब भला मुहावरे का वाक्य में प्रयोग कर लेते है

‌‌‌ वाक्य में प्रयोग  शर्मा जी के जीवन में काफी बड़ी मुसीबत आ गई जिसके कारण से उनका कारोबार आधा खत्म हो गया मगर आखिरकार मुसीबत दूर हुई तो शर्मा जी ने कहा अंत भला तो सब भला ।

वाक्य में प्रयोग  मायावी राक्षस ने नगर में काफी आतंक फैला रखा था मगर आखिरकार हनुमानजी ने उनका अंत कर दिया तो नगर के लोग कहने लगे अंत भला तो सब भला ।

वाक्य में प्रयोग  भयानक ‌‌‌दानव गाव के लोगो को रोज मारता था और इस तरह से काफी लोगो का अंत हो गया था । मगर आखिरकार किसी तरह से दानव का भी अंत हुआ तो लोगो ने कहा अंत भला तो सब भला ।

वाक्य में प्रयोग  महेश को शनिदेव की दशा लगी थी जिसके कारण से उसके जीवन में 7 वर्षों तक काफी बुरा होता रहा मगर जब दशा का अंत हुआ तो महेश ने कहा अंत भला तो सब ‌‌‌भला ।

‌‌‌आखिर क्यो शेर का अंत होने पर जंगली जानवरो ने कहा अंत भला तो सब भला, एक प्रसिद्ध कहानी

‌‌‌बहुत समय पहले अफ्रीका के जंगलों में एक भयंकर भूख वाला एक शक्तिशाली शेर रहता है। उसके नुकीले दांतों और पंजों से कोई भी शिकार सुरक्षित नहीं है और उसने सदियों से शिकार किया है।

  एक दिन एक ज़ेबरा ने उसका ध्यान खींचा। शेर अपने शिकार का तब तक पीछा करता रहा जब तक कि वह एक छोटी सी घाटी में नहीं सिमट गया। बिना किसी हिचकिचाहट के, शेर ज़ेबरा पर झपट पड़ा, उसके मांस को चबाया और उसे फाड़ दिया। ‌‌‌यह नजारा जीस किसी जानवर ने देखा था उकसा दिल धक धक करने लगा और वह शेर से जीवन भर डरने लगा ।

शेर जंगल का राजा था और उसकी वजह से जंगल के जानवर डरने लगे थे। जब वह आसपास था तो उन्हें नहीं पता था कि क्या करना है। शेर हमेशा से ऐसा नहीं था। एक बार, वह जंगल के किसी भी अन्य जानवर की तरह ही था। लेकिन फिर कुछ ऐसा हुआ जिसने उन्हें हमेशा के लिए बदल कर रख दिया।  ‌‌‌और अब शेर रोज नए जानवर को मारता है और अपना पेट भरता है ।

शेर जंगल का राजा था। वह जो भी जानवर चाहता था उसे मार डालता था। लेकिन एक दिन, एक हिरण उसके क्षेत्र में आ गया। शेर ने इस बारे में ज्यादा नहीं सोचा और अपना खाना खाने लगा। लेकिन तभी कुछ अजीब हुआ। जंगल के सारे जानवर डर गए और भाग खड़े हुए। शेर समझ नहीं पाया कि वे क्यों भाग रहे हैं और उनसे पूछा कि क्या बात है। लेकिन उन्होंने उसे अनसुना कर दिया और भागते रहे। ‌‌‌तब शेर को पता चल गया की जानवर उससे डरने लगे है ।

शेर ने जानवरों के बीच अपना खौफ बनाए रखा। जिसके कारण से कोई भी शेर को अपने पास तक रखना नही चाहता था । क्योकी सभी को लगता की शेर उसे मार देगा । शेर हर दिन एक नए जानवर को मारते थे, लेकिन शेर की लगातार दहाड़ और शिकार से जंगल के जानवर थक चुके थे। इसलिए, एक दिन, उन्होंने उसे मारने का फैसला किया। वे इकट्ठे हुए और अपने हमले की योजना बनाई। वे पेड़ों और झाड़ियों में छिप गए और हमले के लिए सही समय की प्रतीक्षा करने लगे। शेर को पता नहीं चला कि क्या हो रहा है जब तक बहुत देर हो चुकी थी। ‌‌‌

‌‌‌आखिर क्यो शेर का अंत होने पर जंगली जानवरो ने कहा अंत भला तो सब भला, एक प्रसिद्ध कहानी

तब जाकर शेर वहां पर आता है तो जानवर एक एक कर कर उस पर हमला करते है । जिसके कारण से शेर घायल हो जाता है  और अंत में एक चुहा आता है और चुहे को देख कर शेर हंसता है और कहता है की एक चुहा मुझे मारने वाला है । मगर तभी चूहे ने शेर के सिर पर चढ कर उसकी आंखे फोड़ दी । और इसके बाद में ‌‌‌एक हाथी ने शेर को अपने पैर के निचे दबा दिया । जिसके शेर हमला नही कर पाया था क्योकी वह पहले ही घायल था । और हाथी के पूरे शरी का वजन शेर की गर्दन पर पडा तो वह मारा गया ।

जब जानवरो को पूरा यकिन हो चुका था की शेर अब मारा गया है तो सभी खुश होने लगे और जोरो सोरो से हंसने लगं । तभी एक जीराफ ने कहा ‌‌‌की इस शेर ने हमारे कई जानवरो को मारा था और अब तुम खुश हो रहे हो । यह सुन कर चूहे ने कहा अंत भला तो सब भला । तभी जानवरो में से एक हिरण बोला की हां अब शेर मारा गया है तो सब कुछ अच्छा हो चुका है ।

इसके बाद में जानवरो को मारने वाला और कोई नही बचा था । इस तरह से शेर का अंत होने पर जानवरो ने कहा अंत ‌‌‌भला तो सब भला ।

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